देश के अन्नदाता दिल्ली की सीमा पर लंबे समय से आंदोलन कर रहे.यह किसान आंदोलन पूर्णतया अहिंसा रूप में हो रहा है.इस किसान आंदोलन का नेतृत्व 30 से अधिक किसान यूनियन कर रही है.किसान आंदोलन में मुख्यत पंजाब और हरियाणा के किसान है.इसके पीछे सबसे बड़ा कारण है कि देश की कृषि का 80% से अधिक धान इन्हीं 2 राज्यो से आता है.कृषि की यहां के जन जीवन की महत्वपूर्ण जीविका है.किसान आंदोलन दिल्ली की सीमाओं से निकलकर पूरे समूचे भारत में फेल गया है.चारो तरफ किसान बिल का विरोध हो रहा है.देश के अन्नदाता की ये कैसी दुर्दशा हुई है.यह किसान आंदोलन केंद्र सरकार द्वारा लाए गए नए कृषि कानून बिल के खिलाफ है.

केंद्र सरकार का कहना है कि यह कानून बिल किसानो के कि फायदेमंद होगे ओर किसानो की आय दुगुनी होगी.केंद्र सरकार के बयानों से साफ तौर पर नजर आ रहा है कि यह कृषि बिल किसी कीमत पर वापस नहीं किया जाएगा.वही किसान यूनियन का कहना है इस से किसानो की ओर स्थिति खराब हो जाएगी.यह कानून उन्हे फसल की उचित कीमत नहीं दिलवा पाएंगे.किसान आंदोलन करने वाले इस बात अड़े है कि यह बिल केंद्र सरकार वापस ले.हाल ही में सरकार ओर किसानो के मध्य 9वे दौर की बातचीत हुई जो बेनतीजा रही है.

इस दौर की बातचीत के बाद किसानो के लहजे में तल्ख मिजाजी थी और उन्होने कहा कि सरकार हाल निकालना नहीं चाहती है.सरकार अगर ऐसा चाहती है तो लिखकर बता दे हम चले जाएंगे.किसानो ने मीटिंग में शामिल होने से पहले अपने हाथ में रखती के रखी थी जिस पर लिखा था “मरेगे है जीतेगे”.कहा जा रहा है कि अगली बैठक 15 जनवरी को होगी.किसान नेता बलबीर रजेवाल ने कहा कि “आप जिद पर है.आप अपने अपने सेक्रेट्री,ज्वाइंट सेक्रेटरी को लगा दीजिए. नौकर शाह कोई ना कोई लोजिक से जवाब दे देगे.आप सरकार है.

लोगो कि बात शायद कम लगती है क्योंकि हम ताकतवर नहीं है.आपको इस बात को निपटाने का मन नहीं है तो आप क्यों वक्त बर्बाद कर रहे है.आप लिख कर दे दीजिए हम चले जाएंगे.सरकार की ओर से कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर,रेल मंत्री पियूष गोयल ओर वाणिज्य मंत्री सोम प्रकाश ने मीटिंग में भाग लिया था.डेरा नानकसर के मुखी बाबा लक्खा सिह जो मध्यस्थ के तौर पर शामिल है.उन्होंने कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को बताया कि केंद्र सरकार इस कानून को राज्यो की विवेक इच्छा पर छोड़ दे.जो राज्य लागू करना चाहता है वो करे जो नहीं चाहता है उस पर कोई जबरदस्ती नहीं है.उन्होंने मीडिया को बताया कि पूरा मीटिंग शांति पूर्ण रही है.पर हम नतीजा निकालने में असफल हो रहे है ।
